सोमवार के श्री महाशिवरात्रि पर्व का विशेष महत्व है।
यदि आपके शत्रु अधिक हैं तो लहसुनियां से बने शिवलिंग की पूजा करनी चाहिए। संतान के लिए बांस के अंकुर से बने शिवलिंग की पूजा करनी चाहिए। आर्थिक समस्या के समाधान के लिए दही को कपडे में बांधकर पानी निकालने के बाद दही जब क ोर हो जाए, तो उससे शिवलिंग की पूजा करनी चाहिए। सुख-शांति के लिए चीनी से बने शिवलिंग की पूजा करनी चाहिए। यदि आप लंबे समय से किसी रोग से पीडित हैं, तो इसके समाधान के लिए मिश्री से बने शिवलिंग की पूजा करें। पंडित जी ने बताया कि नव ग्रह शांति के लिए सोमवार को चंद दूध में काले तिल मिलाकर शिवलिंग को स्नान कराएं। मंगलवार को गिलोय बूटी के रस, बुधवार को विधारा जडी के रस, वीरवार को दूध में हल्दी मिलाकर, शुक्रवार को पंचामृत और शनिवार को गन्ने के रस व छाछ से शिवलिंग को स्नान कराएं।
महाशिवरात्रि के दिन शिव पूजन, व्रत और भगवान शिव के दिव्य स्वरूप का ध्यान करके शिवलिंग पूजन एवं रात्रि जागरण करना चाहिए। भगवान शिव को शीघ्र प्रसन्न होने वाला देव माना गया है। शिव की अराधना में किसी विशेष प्रयोजन की आवश्यकता भी नहीं होती है। यही कारण है कि पूरी दुनिया में शिव मंदिरों की संख्या सबसे अधिक है।